Forest Resources culture
वन वृक्षों झाड़ियों और अन्य कष्ठीय वनस्पति का एक संघन जैविक समुदाय है वनों के संगठन वह सघनता में बड़ी विभिन्नताएं मिलती है हमारी सभ्यता वह संस्कृति के वन विभाग वन वृक्ष अभिन्न अन है
अनेक धार्मिक पर्वो पर वृक्ष पिंपल बरगद की पूजा की जाती है आम पिंपल बरगद चंम्पा भोजपत्र कल्पवृक्ष बेलपत्र के पदप मंदिरों वे स्वच्छ जल के स्रोतों के पास लगाना आज भी शुभ माना जाता है
प्राचीन काल से ही वनों से हमारी आवश्यकताएं पूरी होती थी आज भी मानव वनों पर किसी ना किसी प्रकार निर्भर है अनेक आदिम जातियां अभी भी वनों में निवास करती है वह पूर्ण रुप से वनोउत्पाद पर ही निर्भर है वन किसी भी देश की अमूल्य निधि है वह अधिकांश विकास योजनाएं वह आर्थिक उन्नति वनों पर ही निर्भर करती है।
हमार भारत एक कृषि प्रधान देश है फिर भी वनों का आर्थिक व्यवस्था में विशेष महत्व वनों से हमें फल फूल चारा इमारती वह जलाऊ लकड़ी कोयला गोंद तथा कत्था इत्यादि प्राप्त होते हैं वनों से प्राप्त जड़ी बूटियों पर आधारित चिकित्सा पद्धतियों का आज भी प्रचलन है इनमें ऐसे रसायनों का पता लगाया गया ह
जो सामान्य रोगों से लेकर कैंसर व एड्स जैसे भयावह रोगों के उपचार में भी कारगर सिद्ध हुए हैं वन कई उद्योगों जैसे कागज लाख दियासलाई धागे वस्त्र रबड़ रजक इत्यादि में कच्चा माल उपलब्ध कराते हैं पशुओं में के लिए चारागाह है वह लोगों को रोजगार भी वनों से प्राप्त होता हैवन प्राकृतिक संतुलन बनाए रखने में विशेष भूमिका निभाते हैं जो पर्यावरण की दृष्टि से पृथ्वी पर जीवन को बनाए रखने के लिए महत्वपूर्ण है
1. वन वायुमंडल से हानिकारक गैसों जैसे कार्बन डाई ऑक्साइड सल्फर डाइऑक्साइड वह नाइट्रोजन ऑक्साइड का अवशोषण कर वातावरण को स्वच्छ रखते हैं
2. वायुमंडल में कार्बन डाइऑक्साइड ऑक्सीजन का संतुलन बनाए रखते हैं
3. भूमिगत जल के वाष्पन को रोकते हैं ए वायुमंडलीय आद्रता को बनाए रखते हैं
4. भूमि की उर्वरता को बढ़ाते हैं
5. मृदा के अपरदन वह वर्षा के तेज जल के भाव को रोकते हैं
6. वन्य जीवों को आवास पर भोजन उपलब्ध करवा कर उनका सरक्षण करते हैं।
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